दीपावली 2025: 20 अक्टूबर को मनाया जायेगा रोशनी का त्योहार, बाजारों में जोर-शोर से खरीदारी की धूम।
दीपावली, जिसे दीवाली या दीपोत्सव भी कहा जाता है, भारत का सबसे चमकदार और प्रिय त्योहार है। यह हर साल कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है। वर्ष 2025 में अमावस्या
दीपावली, जिसे दीवाली या दीपोत्सव भी कहा जाता है, भारत का सबसे चमकदार और प्रिय त्योहार है। यह हर साल कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है। वर्ष 2025 में अमावस्या तिथि 20 अक्टूबर को दोपहर 3 बजकर 44 मिनट से शुरू होकर 21 अक्टूबर को शाम 5 बजकर 54 मिनट तक चलेगी। इसलिए मुख्य दीपावली 20 अक्टूबर को मनाई जाएगी। कुछ क्षेत्रों जैसे गुजरात, महाराष्ट्र और दक्षिण भारत के भागों में इसे 21 अक्टूबर को भी मनाया जाता है, लेकिन अधिकांश जगहों पर 20 अक्टूबर ही प्रमुख तारीख है। यह पर्व पांच दिनों तक चलता है, जो धनतेरस से शुरू होकर भाई दूज तक समाप्त होता है। दीपावली का अर्थ है दीपों की माला, जो अंधकार पर प्रकाश की, बुराई पर अच्छाई की और अज्ञान पर ज्ञान की जीत का प्रतीक है। हिंदू मान्यताओं के अनुसार, यह दिन भगवान राम के 14 वर्ष के वनवास के बाद अयोध्या लौटने का उत्सव है। जब अयोध्या के लोगों ने दीप जलाकर उनका स्वागत किया था। जैन धर्म में यह महावीर का निर्वाण दिवस है, जबकि सिखों के लिए बंदी छोड़ दिवस। इस त्योहार में लोग घर साफ करते हैं, रंगोली बनाते हैं, मिठाइयां बांटते हैं और आतिशबाजी करते हैं। लेकिन इस बार पर्यावरण संरक्षण के लिए कई राज्यों ने पटाखों पर पाबंदी लगाई है।
त्योहार की शुरुआत धनतेरस से होती है, जो 18 अक्टूबर को मनाई गई। इस दिन धन की देवी लक्ष्मी और यमराज की पूजा की जाती है। लोग सोना, चांदी, बर्तन और नए कपड़े खरीदते हैं। बाजारों में इस दिन से ही भीड़ उमड़ने लगी। दिल्ली के चांदनी चौक और सरोजिनी मार्केट में सुबह से ही लोग पहुंचे। चांदनी चौक की गलियों में मिठाई की दुकानों पर लाइन लगी रही। गुलाब जामुन, लड्डू और बर्फी जैसी मिठाइयां बिक्री के लिए सजी हुई थीं। एक दुकानदार ने बताया कि इस साल मिठाई की बिक्री पिछले साल से 20 प्रतिशत ज्यादा है। लोग घर लौटते समय थैलियों में भरी मिठाइयां और सूखे मेवे साथ ले जाते दिखे। सरोजिनी मार्केट में सस्ते कपड़ों और सजावट की वस्तुओं के लिए युवा भीड़ रही। रंग-बिरंगे लाइट सेट, दीये और रंगोली पाउडर की दुकानें चमक रही थीं। एक युवती ने कहा कि हमने यहां से 500 रुपये में पूरा सजावट का सामान खरीदा। यह बाजार सस्ते दामों के लिए मशहूर है। मुंबई के क्रॉफर्ड मार्केट में भी धनतेरस पर सोने के आभूषणों की खरीदारी जोरों पर रही। लोग पारंपरिक हार और चूड़ियां लेते नजर आए।
अगला दिन नरक चतुर्दशी या छोटी दीपावली था, जो 19 अक्टूबर को मनाया गया। इस दिन भगवान कृष्ण द्वारा राक्षस नरकासुर के वध की स्मृति में स्नान और पूजा की जाती है। लेकिन खरीदारी का दौर धनतेरस से ही तेज हो गया। कोलकाता के न्यू मार्केट में सुबह से लोग घूमते दिखे। यहां पारंपरिक साड़ियां, लैंटर्न और फूलों की मालाएं सजी थीं। एक परिवार ने बताया कि हमने यहां से पूजा की थाली और दीये खरीदे। दाम थोड़े ज्यादा हैं लेकिन क्वालिटी अच्छी है। पटना के फ्रेजर रोड मार्केट में स्थानीय हस्तशिल्प की दुकानें सजीं। लोग मिट्टी के दीये खरीद रहे थे, जो पर्यावरण के अनुकूल हैं। अमृतसर के हल्दी राम मार्केट में पंजाबी जट्टियां और सूट खरीदने वालों की भीड़ रही। महिलाएं रंग-बिरंगे परिधान ट्राय करतीं दिखीं। एक दुकान पर रंगोली बनाने के लिए नए डिजाइन वाले स्टेंस बिक रहे थे। बच्चे रंगीन बलून और छोटे-छोटे पटाखे मांगते नजर आए, हालांकि दिल्ली जैसे शहरों में पटाखों पर सख्ती है।
बेंगलुरु के कमनहल्ली मार्केट में दक्षिण भारतीय शैली की सजावट दिखी। यहां कोलम के लिए विशेष पाउडर और फूलों की मालाएं लोकप्रिय रहीं। लोग घर सजाने के लिए नारियल के पत्तों से बनी तोरण खरीद रहे थे। चेन्नई के टी. नगर में आभूषण और सिल्क साड़ियों की दुकानें भरी पड़ीं। एक बुजुर्ग ने कहा कि दीपावली पर नया आभूषण पहनना शुभ माना जाता है। इस बाजार में रात तक खरीदारी चलती रही। हैदराबाद के लाही बाजार में मसालेदार मिठाइयां और ड्राई फ्रूट्स की बिक्री तेज थी। लोग बैग भरकर सामान ले जाते दिखे। इन बाजारों की तस्वीरें देखने लायक हैं। चांदनी चौक में नीले आकाश के नीचे चमकते लाइट स्ट्रिंग्स की फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। एक तस्वीर में एक महिला रंग-बिरंगी साड़ियां देखती हुई नजर आ रही है, उसके चेहरे पर उत्साह साफ झलक रहा। सरोजिनी मार्केट की एक फोटो में युवा समूह सस्ते क्रिसमस लाइट्स वाले दीये खरीदते दिखे, जो दीपावली के लिए सजावट में इस्तेमाल होते हैं। कोलकाता के न्यू मार्केट में एक स्ट्रीट फोटो कैप्चर की गई, जहां दुकानदार मिठाई की ट्रे सजाते हुए मुस्कुरा रहे हैं। पटना में फ्रेजर रोड पर मिट्टी के दीयों की लंबी कतार की तस्वीर दिल छू लेने वाली है। इन दीयों को रंगीन पेंट से सजाया गया है, जो घरों को रोशन करने के लिए तैयार हैं।
दीपावली की मुख्य पूजा 20 अक्टूबर को शाम को होगी। इस समय प्रदोष काल में लक्ष्मी पूजा का मुहूर्त है, जो दिल्ली में शाम 7 बजकर 8 मिनट से 8 बजकर 18 मिनट तक रहेगा। लोग घरों में गणेश-लक्ष्मी की मूर्तियां स्थापित करेंगे, आरती उतारेंगे और दीप जलाएंगे। अगले दिन 21 अक्टूबर को गोवर्धन पूजा होगी, जहां भगवान कृष्ण द्वारा गोवर्धन पर्वत उठाने की कथा का स्मरण किया जाता है। कुछ जगहों पर इसे अन्नकूट के रूप में मनाया जाता है, जहां सैकड़ों व्यंजन बनाए जाते हैं। फिर 22 अक्टूबर को भाई दूज आएगा, जो भाई-बहन के प्यार का प्रतीक है। बहनें भाइयों को तिलक लगाती हैं और उपहार देती हैं। इस पूरे पर्व में खरीदारी का महत्व बहुत है। लोग न केवल अपने लिए बल्कि रिश्तेदारों के लिए उपहार खरीदते हैं। इस साल ऑनलाइन शॉपिंग भी बढ़ी है। अमेजन और फ्लिपकार्ट पर दीपावली सेल चली, जहां इलेक्ट्रॉनिक्स से लेकर सजावट तक सब कुछ डिस्काउंट पर मिला। लेकिन पारंपरिक बाजारों की चमक अलग है। दिल्ली के करोल बाग में पारंपरिक कपड़ों की दुकानें भरीं। यहां सलवार सूट और कुर्ते सजे हुए थे। एक तस्वीर में एक परिवार पूजा थाली चुनता दिखा, जिसमें चांदी का लोटा और फूलों की माला शामिल थी। मुंबई के दादर मार्केट में मराठी स्टाइल के गहने बिक रहे थे। महिलाएं सुनहरी चूड़ियां ट्राय करतीं नजर आईं।
बाजारों की रौनक देखने लायक है। चेन्नई के टी. नगर में सिल्क साड़ियों की चमक आंखें चौंधिया रही। एक फोटो में दुकानदार ग्राहक को साड़ी दिखाते हुए उत्साहित लग रहे। बेंगलुरु के जय नगर में हस्तशिल्प स्टॉल्स पर रंगोली डिजाइन और दीये सजे। बच्चे कागज के लैंटर्न चुनते दिखे। हैदराबाद में चैरमिनार के पास बाजार सज गया। यहां मसालों वाली मिठाइयां और डिजाइनर दीये लोकप्रिय हैं। एक तस्वीर में भीड़भाड़ वाली गली दिख रही, जहां लोग बैग लटकाए चल रहे हैं। दिल्ली के सदर बाजार में रंग-बिरंगे लाइट्स और लैंटर्न की चमक देखते ही बन रही। एक तस्वीर में महिलाएं मध्य पूर्वी डिजाइन वाले हैंगिंग लैंटर्न खरीदती हुईं दिख रही हैं, जो 400 रुपये प्रति पीस बिक रहे हैं। नोएडा के सेक्टर 33 स्थित नोएडा हाट में दीपावली उत्सव चल रहा है, जहां हैंडीक्राफ्ट्स और लोक नृत्य की तस्वीरें सोशल मीडिया पर छाई हैं। जयपुर के जोहरी बाजार में ज्वेलरी और रंगीन टेक्सटाइल्स की फोटो वायरल हो रही, जहां शाम को बाजार रोशनी से जगमगा उठता है। इस खरीदारी से अर्थव्यवस्था को भी बल मिलता है। व्यापारियों का कहना है कि दीपावली पर बिक्री दोगुनी हो जाती है। लेकिन पर्यावरण चिंता भी है। दिल्ली में पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध है, जबकि हरियाणा और पंजाब में सीमित समय तक अनुमति है। लोग अब इको-फ्रेंडली दीये और लाइट्स पसंद कर रहे हैं।
दीपावली का संदेश एकता और समृद्धि का है। परिवार इकट्ठा होते हैं, पुरानी बातें याद करते हैं। मिठाइयां बांटकर रिश्ते मजबूत होते हैं। इस साल अयोध्या में विशेष दीपोत्सव हुआ, जहां सरयू नदी किनारे लाखों दीप जलाए गए। एक हवाई तस्वीर में शहर रोशनी से जगमगा रहा। देशभर में लोग सफेद साड़ियां पहनकर पूजा करेंगे। बच्चे रंगोली बनाएंगे। महिलाएं व्यंजन तैयार करेंगी। पुरुष बाजार से सामान लाएंगे। यह पर्व न केवल हिंदुओं का बल्कि सभी का है। जैन मंदिरों में निर्वाण कथा होगी, सिख गुरुद्वारों में कीर्तन। विदेशों में भी एनआरआई इसे धूमधाम से मनाते हैं। अमेरिका में कई शहरों में दीपावली परेड निकलते हैं। इस बार भी सोशल मीडिया पर दीपावली की तस्वीरें शेयर हो रही हैं। एक फोटो में कोयंबटूर में आतिशबाजी का धुआं आकाश भर रहा। दूसरी में ओंगोले में नरकासुर की मूर्ति जलती दिखी। सुखमा जिले में सीआरपीएफ जवान पटाखे फोड़ते नजर आए। अहमदाबाद में सजावट की लाइटिंग की फोटो चमकदार लगी। कोलकाता के न्यू मार्केट में दो महिलाएं पारंपरिक ड्रेस में शॉपिंग बैग लिए मुस्कुराती हुईं दिख रही हैं। अमृतसर में हल्दी राम मार्केट की फोटो में पंजाबी सूट ट्राय करती महिलाओं की भीड़ कैद हुई है। चेन्नई के टी. नगर में ट्रैफिक जाम के बीच साड़ी खरीदारी की तस्वीरें वायरल हैं। जयपुर के बाजार में मिट्टी के दीये और फूलों की माला सजाए स्टॉल की फोटो देखकर उत्साह जाग उठता है। नोएडा के डिस्ट्रिक्ट 9 में डिजाइनर पॉप-अप की तस्वीरें युवाओं को आकर्षित कर रही हैं।
दीपावली हमें सिखाती है कि छोटी-छोटी खुशियां बांटने से जीवन रोशन होता है। बाजारों की भीड़, घरों की सजावट, मिठाइयों की मिठास सब कुछ मिलकर यह पर्व अविस्मरणीय बनाते हैं। इस दीपावली पर सभी को शुभकामनाएं। आशा है कि यह प्रकाश आपके जीवन को हमेशा रोशन रखे। आने वाले वर्ष में समृद्धि और सुख मिले।
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