UP: अमरोहा में सिपाहियों की शर्मनाक हरकत, शव यात्रा को बनाया रील का कंटेंट, जांच के आदेश। 

उत्तर प्रदेश के अमरोहा जिले में तैनात दो पुलिस सिपाहियों की एक हरकत ने पुलिस विभाग की मर्यादा और नैतिकता पर गंभीर सवाल...

Jun 27, 2025 - 12:33
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UP: अमरोहा में सिपाहियों की शर्मनाक हरकत, शव यात्रा को बनाया रील का कंटेंट, जांच के आदेश। 

उत्तर प्रदेश के अमरोहा जिले में तैनात दो पुलिस सिपाहियों की एक हरकत ने पुलिस विभाग की मर्यादा और नैतिकता पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। इन सिपाहियों ने एक शव यात्रा को रील बनाने का कंटेंट बना डाला और अर्थी को कंधा देकर अलग-अलग एंगल से वीडियो शूट किया। वीडियो को एडिट कर सोशल मीडिया पर अपलोड करने के बाद यह तेजी से वायरल हो गया, जिससे जनता और पुलिस प्रशासन में हड़कंप मच गया। इस घटना ने न केवल पुलिस की संवेदनशीलता पर सवाल उठाए, बल्कि यह भी पूछा जा रहा है कि क्या वर्दी की गरिमा अब सोशल मीडिया की रीलों और लाइक्स तक सिमट कर रह गई है। अमरोहा के पुलिस अधीक्षक (एसपी) ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच के आदेश दे दिए हैं।

यह शर्मनाक घटना 25 जून 2025 को अमरोहा जिले में हुई, जब दो सिपाही, जिनके नाम अभी सार्वजनिक नहीं किए गए हैं, एक शव यात्रा के दौरान वीडियो कंटेंट की तलाश में थे। जानकारी के अनुसार, ये सिपाही सोशल मीडिया पर वायरल होने के लिए कुछ "हटके" कंटेंट की तलाश में थे। जब उन्हें कोई खास सामग्री नहीं मिली, तो उन्होंने रास्ते से गुजर रही एक शव यात्रा को ही अपने वीडियो का विषय बना लिया। वायरल वीडियो में देखा जा सकता है कि ये सिपाही वर्दी में अर्थी को कंधा दे रहे हैं, लेकिन उनका मकसद अंतिम विदाई देना नहीं, बल्कि "इमोशनल फ्रेम" कैप्चर करना था। सिपाहियों ने अलग-अलग एंगल से वीडियो शूट किए, जिसमें वे शव यात्रा में शामिल दिख रहे हैं। इसके बाद, इस फुटेज को एडिट कर एक रील तैयार की गई और इंस्टाग्राम पर अपलोड कर दी गई। हैरानी की बात यह है कि एक सिपाही के इंस्टाग्राम अकाउंट पर साढ़े तीन मिलियन फॉलोअर्स हैं, जो उनकी सोशल मीडिया लोकप्रियता को दर्शाता है। लेकिन इस लोकप्रियता के पीछे की यह असंवेदनशील हरकत जनता के लिए अस्वीकार्य साबित हुई। वीडियो के वायरल होने के बाद सोशल मीडिया पर लोगों ने सिपाहियों की कड़ी आलोचना की और पुलिस विभाग से कार्रवाई की मांग की।

सोशल मीडिया पर वायरल हुए इस वीडियो ने आम जनता से लेकर पुलिस प्रशासन तक में हड़कंप मचा दिया। कई यूजर्स ने इसे पुलिस की मर्यादा के खिलाफ बताया और सवाल उठाया कि क्या अब वर्दीधारी केवल लाइक्स और फॉलोअर्स के लिए काम करेंगे। एक यूजर ने लिखा, "शव यात्रा जैसी संवेदनशील घटना को रील का हिस्सा बनाना शर्मनाक है। पुलिस को लोगों की सुरक्षा और सम्मान की रक्षा करनी चाहिए, न कि उनकी भावनाओं के साथ खिलवाड़ करना चाहिए।"  अन्य यूजर्स ने भी इस घटना को पुलिस की नैतिकता पर धब्बा बताया और कहा कि ऐसे सिपाहियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। कुछ लोगों ने यह भी सवाल उठाया कि जिले के वरिष्ठ अधिकारी इस तरह के वीडियो को प्रोत्साहन क्यों दे रहे हैं।

वीडियो के वायरल होने के बाद अमरोहा पुलिस ने मामले को गंभीरता से लिया। पुलिस अधीक्षक (एसपी) ने तत्काल जांच के आदेश दिए और एक विशेष टीम गठित की गई है जो इस मामले की तह तक जाएगी। प्रारंभिक जांच में पता चला है कि सिपाहियों ने वर्दी में रहते हुए शव यात्रा का वीडियो बनाया, जो पुलिस नियमावली और आचरण के खिलाफ है। एसपी ने कहा, "यह घटना अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है। हम इसकी पूरी जांच कर रहे हैं और दोषी सिपाहियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।" पुलिस विभाग ने यह भी स्पष्ट किया कि इस तरह की हरकतें न केवल पुलिस की छवि को धूमिल करती हैं, बल्कि जनता के बीच विश्वास को भी कम करती हैं। जांच में यह भी देखा जा रहा है कि क्या इन सिपाहियों को वरिष्ठ अधिकारियों का कोई प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष समर्थन प्राप्त था।

यह घटना कई गंभीर सवाल खड़े करती है। सबसे बड़ा सवाल यह है कि क्या सोशल मीडिया की लोकप्रियता ने पुलिस जैसे सम्मानित पेशे की गरिमा को प्रभावित किया है। शव यात्रा, जो एक परिवार के लिए दुख और शोक का समय होता है, उसे रील का कंटेंट बनाना न केवल असंवेदनशील है, बल्कि समाज के नैतिक मूल्यों के खिलाफ भी है। यह घटना यह भी दर्शाती है कि सोशल मीडिया के दबाव में लोग अपनी जिम्मेदारियों और कर्तव्यों को भूल रहे हैं। पुलिस सिपाहियों का यह कृत्य उन लोगों के लिए भी एक झटका है जो पुलिस पर भरोसा करते हैं। वर्दी में रहते हुए इस तरह की हरकतें न केवल व्यक्तिगत स्तर पर गलत हैं, बल्कि पूरे पुलिस बल की विश्वसनीयता पर सवाल उठाती हैं। समाज में यह धारणा बन रही है कि कुछ पुलिसकर्मी अपनी ड्यूटी से ज्यादा सोशल मीडिया की लोकप्रियता को महत्व दे रहे हैं। अमरोहा में हुई इस घटना ने पुलिस की मर्यादा और समाज की संवेदनशीलता पर गहरी चोट पहुंचाई है। शव यात्रा जैसे पवित्र और दुखद क्षण को रील का कंटेंट बनाना न केवल अनैतिक है, बल्कि यह पुलिस बल की विश्वसनीयता पर भी सवाल उठाता है। पुलिस विभाग ने इस मामले में जांच शुरू कर दी है, और जनता को उम्मीद है कि दोषी सिपाहियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी।

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